आरती करो बृजनारी ले कंचन थारी लिरिक्स, Aarti Karo Brijnari Lyrics In Hindi
आरती करो बृजनारी ले कंचन थारी लिरिक्स, Aarti Karo Brijnari Lyrics
यहाँ – आरती करो बृजनारी ले कंचन थारी लिरिक्स, Aarti Karo Brijnari Lyrics दिया गया है-
आरती करो बृजनारी,
ले कंचन थारी,
आरती करो बृज नारी ||
भावना भक्ति की ज्योति,
अनमोल प्रेम के मोती,
रसबुंदन सो भरी झारी |
अति सुकुमारी,
आरती करो बृज नारी ||
घनश्याम नंद के लाला,
पहिरे पट पीत रसाला,
संग सोहे वृषभानु दुलारी |
श्री राधिका प्यारी,
आरती करो बृज नारी ||
कुंडल छवि मोर मुकुट की,
चंचल चितवन नटखट की,
चंद्रिका चमक रही न्यारी |
नीलांबर सारी,
आरती करो बृज नारी ||
सिंहासन दोऊ बिराजे,
लखी कोटी काम छबी लाजे,
ललितादीक् अखियां प्यारी |
निरख बनवारी,
आरती करो बृज नारी ||
चीर जीवे अविचल जोड़ी,
मोहन वृषभान किशोरी,
बृज जीवन कुंजबिहारी |
पे जाऊं मैं वारी,
आरती करो बृज नारी ||
आरती करो बृजनारी,
ले कंचन थारी,
आरती करो बृज नारी ||